अनिद्रा या नींद की बीमारी क्यों होती है ?अनिद्रा के कई कारण हो सकते हैं। हालांकि मुख्यतः मानसिक अशांति के परिणामस्वरुप अनिद्रा की समस्या होती है। किसी भी प्रकार की शारीरिक व्यथा जैसे शरीर में दर्द, अतिशय तीव्र या मौसम में बदलाव की स्थिति या पुरानी बीमारियाँ भी अनिद्रा का कारण बन सकती हैं। थकान और चिंता से भी नींद की कमी हो सकती है। जिन लोगों को कमज़ोर पाचन, कब्ज और खाने की अनियमित आदतों का पूर्व इतिहास है, उन्हें अनिद्रा से पीड़ित होने की अधिक संभावना है।
अनिद्रा का कोई भी कारण हो सकते है| यह एक विडम्बना है कि आज की आधुनिक जीवन शैली में लोग निद्रा को आवश्यकता नहीं बल्कि एक सुख के रूप में देखते हैं। नेशनल स्लीप फाउंडेशन के अनुसार, 30% से 40% लोगों का कहना है कि उन्हें कभी-कभी अनिद्रा की समस्या होती है और 10% से 15% लोग कहते हैं कि उन्हें हर समय नींद न आने की परेशानी होती है।
आयुर्वेद में, नींद न आने को 'अनिद्रा' कहा जाता है। आयुर्वेदिक उपचार व सही जीवन शैली अपनाकर अनिद्रा का उपचार करना संभव है। नींद अच्छी व गहरी होने के लिए कुछ आसान घरेलू उपाय हैं जो आप अपना सकते हैं।
रात को सोते समय 1 चम्मच शहद के साथ गुनगुना पानी लें। एक कटे हुए केले पर 1 चम्मच जीरा छिड़कें। रात को नियमित रूप से खाएं। ताजा पुदीने के पत्ते या पुदीने के सूखे पाउडर को 1 कप पानी में 15-20 मिनट के लिए उबालें। कोल्ड प्रेस्ड कार्बनिक तिल के तेल को अपने पैरों के तलवों पर लगा कर रगड़ें, इससे पहले कि आप आराम से सुखपूर्वक चादर ओढ़ कर आराम करने जाएं (सूती मोज़े पैरों पर चढ़ा लें, ताकि आपकी चादर पर तेल न लगे)। रात को सोने से पहले गर्म दूध पीना नींद आने का आसान उपाय है। बादाम का दूध कैल्शियम का एक उत्कृष्ट स्रोत है, जिससे मस्तिष्क को मेलाटोनिन (वह हार्मोन जो निद्रावस्था /जागृतवस्था चक्र को नियंत्रित करने में मदद करता है) के निर्माण में मदद मिलती है। ध्यान आपके मन को विश्राम देने और अच्छी नींद लाने का एक बेहतरीन तरीका है!
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